New Delhi: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने ‘डंकी’ रूट से भारत से अमेरिका में मानव तस्करी से जुड़े मामले में दो आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की है। एएनआई ने इस साल जुलाई में दोनों आरोपियों को गिरफ्तार किया था।
मानव तस्करी और धोखाधड़ी का आरोप
आरोपियों की पहचान हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला निवासी सनी और दिल्ली के पीरागढ़ी निवासी शुभम संधाल के रूप में हुई। दोनों पर मानव तस्करी और धोखाधड़ी करने के आरोप हैं। इन दोनों को मुख्य आरोपी गगनदीप सिंह उर्फ गोल्डी की दिल्ली के तिलक नगर इलाके से गिरफ्तारी के लगभग तीन महीने बाद पकड़ा गया था।
पंजाब पुलिस से लिया केस
एनआईए ने पंजाब पुलिस की तरफ से दर्ज मामले के आधार पर कार्रवाई शुरू की थी। 18 फरवरी को पंजाब के तरनतारन के गोइंदवाला पुलिस स्टेशन में केस दर्ज हुआ था। एनआईए मार्च में पंजाब पुलिस से मामला अपने हाथ में लिया। 13 मार्च को एनआईए ने कार्रवाई करते हुए मुकदमा लिखा था।
अवैध तरीके से बॉर्डर पार
जांच में सामने आया कि सनी, ‘डंकी’ रूट से मानव तस्करी में सक्रिय रूप से शामिल था। 2021 से 2023 तक मेक्सिको में रहने के दौरान, उसने गोल्डी और अन्य लोगों के साथ मिलकर अवैध तरीके से बॉर्डर पार कराने और पीड़ितों को गैरकानूनी रूप से हिरासत में रखने में मदद की। उसने हवाला और बैंक ट्रांसफर के जरिए भुगतान प्राप्त किए।
आरोपी सनी लॉजिस्टिक्स कॉर्डिनेटिंग
जांच एजेंसी के अनुसार, साल 2023 में भारत लौटने के बाद आरोपी सनी लॉजिस्टिक्स कॉर्डिनेटिंग करता रहा, हवाला ट्रांजेक्शन को मैनेज करता रहा और सीधे ‘डंकी’ रूट से पीड़ितों को भेजता रहा।
ग्राहकों से इकट्ठा करता था पैसे
शुभम संधाल एक हवाला एजेंट था। वह मुख्य रूप से गोल्डी और उसके साथियों की ओर से संचालित मानव तस्करी सिंडिकेट के लिए अवैध धन ट्रांजेक्शन में शामिल था। एनआईए की जांच से पता चला है कि शुभम ग्राहकों से पैसे इकट्ठा करता था और हवाला नेटवर्क के जरिए उसे विदेश भेजता था। उसका मुख्य काम भारत, मैक्सिको और यूएस के बीच अवैध धन का प्रबंधन और स्थानांतरण करना था।
इस मामले में अन्य आरोपियों के खिलाफ एएनआई की जांच जारी है। जांच एजेंसी अवैध तस्करी सिंडिकेट्स को ध्वस्त करने के लिए काम कर रही है, जो कानूनी वीजा के झूठे वादों के साथ मासूम लोगों को ठगने और शोषण करने में शामिल हैं।